तेली, तमोली व दांगी को अति पिछड़ा वर्ग से हटाने की मांग
नवादा।  अखिल भारतीय मूल अतिपिछड़ा बुद्धिजीवी मंच के बैनर तले पटना के गर्दनीबाग में सोमवार को  एक दिवसीय कर्पूरी अनशन सत्याग्रह किया गया जिसकी अध्यक्षता सुप्रसिद्ध चिकित्सा डॉक्टर केपी सिंह ने किया मंच संचालन मिथिलश चौहान और मिलन सिंह चंद्रवंशी ने किया ।
मूल अतिपिछड़ा समाज के 110 जातियों  के प्नतिनिधियों ने  भाग लिया। संगठन की मुख्य मांग समृद्ध जातियां तेली तमोली दांगी तीनों जातियां को 2015 में सरकार द्वारा शामिल किया गया जिसे अति पिछड़ा श्रेणी से बाहर किया जाए। विगत 10 वर्षों से इन तीन जातियों के द्वारा अति पिछड़ा के आरक्षण से जितने भी सीटे ली गई है उसकी भरपाई उनके अपने कोटि bc2 से किया जाए ।जी रोहणी कमीशन की रिपोर्ट सदन में चर्चा कराई जाए एवं सार्वजनिक पटल पर रखा जाए। एससी एसटी कोटा की तरह अत्यंत पिछड़ी जातियों को भी आबादी के अनुरूप विधानसभा लोकसभा के चुनाव में सीट को आरक्षित किया जाए ।एससी एसटी एक्ट की तरह अति पिछड़ा उत्पीड़न निषेध कानून बनाया जाए ।
नवादा शेखों दौरा कौवाकोल आश्रम में कृषि विश्वविद्यालय की स्थापना की जाए । ये प्रमुख मांगे डॉक्टर केपी सिंह ने रखी।
संगठन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कमलेश सैनी ने कहा कि बिहार में जाति गणना हुंई है । आबादी के अनुसार अतिपिछड़ा को विधानसभा में टिकट सभी पार्टी दे । जो पार्टी अतिपिछड़ा को टिकट देगी अतिपिछड़ा समाज वोट उसी पार्टी को देगा। अगर सरकार हमारी मांग नहीं पूरा करती है तो विवश होकर प्रत्येक जिला में कर्पूरी अनशन सत्याग्रह किया जाएगा। इसमें तमाम लोग शामिल हुए । कारू मालाकार ,संतोष सिंह चंद्रवंशी, नंदू सिंह चंद्रवंशी ,गोपाल ठाकुर, रामविलास प्रसाद ,बंटी केवट, अजय सिंह चंद्रवंशी ,मटरू रंजीत बाबू श्याम सुंदर सिंह ओम सिंह डॉ पी एन कुमार मुन्ना जी गोपाल ठाकुर बिंदेश्वरी प्रसाद शर्मा श्याम नंदन ठाकुर सरीखे नेता-कार्यकर्ता सत्याग्रह में शामिल थे।
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