पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को  भ्रष्टाचार मामले में 14 साल

 पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को 19 करोड़ पाउंड के अल-कादिर ट्रस्ट भ्रष्टाचार मामले में 14 साल की जेल की सजा सुनाई गई है। जबकि उनकी पत्नी बुशरा बीबी को 07 वर्ष का सजा काटना होगा। साथ ही इन पर भारी जुर्माना भी लगाया गया है। इससे पहले कोर्ट सजा पर फैसला 03 बार टाल चुका था। पार्टी से जुड़े नेताओं का कहना है कि वे इसके खिलाफ शीर्ष अदालत में जाएंगे।
कोर्ट ने अपने फैसले के साथ ही इमरान की पत्नी बुशरा बीबी को गिरफ्तार करने का भी आदेश सुनाया। वह फैसला सुनने के लिए अदियाला जेल में मौजूद थीं , जहां पुलिस ने उन्हें औपचारिक गिरफ्तारी के लिए घेर लिया फिर उन्हें गिरफ्तार कर लिया। राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो ने दिसंबर 2023 में इमरान खान (72) और बुशरा बीबी (50) समेत 6 अन्य के खिलाफ केस दर्ज किया था , जिसमें उन पर राष्ट्रीय खजाने को 19 करोड़ पाउंड (करीब 50 अरब पाकिस्तानी रुपये) का नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया गया था। यह केस इमरान और बुशरा पर चलाया गया क्योंकि एक प्रॉपर्टी कारोबारी सहित अन्य सभी आरोपी देश से बाहर हैं।
जज नासिर जावेद राणा ने अदियाला जेल में एक अस्थायी अदालत में आज अहम फैसला सुनाया। जबकि इससे पहले सजा पर फैसला 03 बार टाला जा चुका है। कोर्ट ने इमरान पर 10 लाख रुपये और बुशरा पर 05 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया है। जुर्माना नहीं भरने की सूरत में उन्हें 06 महीने जेल की सजा होगी। अदियाला जेल के बाहर कड़ी सुरक्षा के बीच फैसला सुनाया गया , जिसके बाद बुशरा को कोर्ट रूम से ही गिरफ्तार कर लिया गया।
इससे पहले इस्लामाबाद की भ्रष्टाचार निरोधक अदालत ने फैसला सुनाने के लिए आज 17 जनवरी की तारीख तय की थी। स्थानीय मीडिया की खबर के अनुसार जस्टिस नासिर जावेद राणा ने पिछले साल 18 दिसंबर को मामले की सुनवाई पूरी कर ली थी , जबकि फैसला सुनाने के लिए 23 दिसंबर की तारीख सुरक्षित रख लिया था। बाद में उन्होंने फैसला सुनाने के लिए 06 जनवरी की तारीख तय की थी। जस्टिस राणा 06 जनवरी को छुट्टी पर थे। इसलिए फैसला 13 जनवरी तक के लिए टाल दिया गया। फिर जस्टिस ने आरोपियों की अदालत में अनुपस्थिति का हवाला देते हुए एक बार फिर फैसले की घोषणा 17 जनवरी तक के लिए टाल दी थी। खान दंपति पर आम चुनावों के तुरंत बाद पिछले साल 27 फरवरी को मामले में अभियोग लगाया गया था। फैसले से पहले अदियाला जेल के बाहर मीडिया से बात करते हुए पीटीआई के चेयरमैन बैरिस्टर गौहर अली खान ने कहा कि “आप पिछले दो सालों में हुए अन्याय का अंदाजा लगा सकते हैं। अगर निष्पक्ष फैसला हुआ तो इमरान और बुशरा को बरी कर दिया जाएगा। मामले में यह आरोप लगाया गया कि इमरान और बुशरा बीबी ने बहरिया टाउन लिमिटेड से अरबों रुपये और सैकड़ों कनाल की जमीन हासिल की है। साथ ही यह भी आरोप है कि एक प्रॉपर्टी कारोबारी के साथ समझौते के तहत ब्रिटेन की राष्ट्रीय अपराध एजेंसी की ओर से पाकिस्तान को लौटाए गए 50 अरब रुपये का दुरुपयोग किया गया। 23 दिसंबर को जिस दिन यह फैसला सुनाया जाना था , इस्लामाबाद की भ्रष्टाचार निरोधक अदालत ने सर्दियों की छुट्टियों के कारण केस में अपना फैसला 06 जनवरी तक के लिए टाल दिया। फिर 06 जनवरी को फैसला नहीं सुनाया जा सका क्योंकि मामले की सुनवाई कर रहे जस्टिस राणा छुट्टी पर थे। 13 जनवरी को अगली सुनवाई में जस्टिस ने देरी की वजह इमरान और बुशरा का अदियाला जेल में कोर्ट के सामने पेश न होना बताया। इमरान साल 2023 से ही जेल में हैं। वह कई कानूनी मामलों में जेल में हैं , जिसके बारे में उनका दावा है कि उनके खिलाफ केस “राजनीति से प्रेरित” है। पिछले साल उन्हें तोशाखाना और इद्दत मामलों में बरी कर दिया गया था।

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