सांप्रदायिक सद्भाव और राष्ट्रीय, सामाजिक एकता के प्रवर्तक थे संत कबीर और गुरु नानकदेव

पटना -मीठापुर स्थित कबीर साई मंदिर में साप्ताहिक सत्संग का आयोजन मंहत ब्रजेश मुनि महाराज जी के पावन सानिध्य में आयोजित किया गया इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में पधारे
तख्त श्री हरि मंदिर गुरुद्वारा पटना साहिब के पूर्व
मुख्य जत्थेदार ज्ञानी रणजीत सिंह गौहर ने कहा कि
सांप्रदायिक सद्भाव और राष्ट्रीय, सामाजिक एकता के प्रवर्तक थे
संत कबीर और गुरु नानकदेव जी उन्होंने  प्रेम-भाईचारे का संदेश दिया है
जैसे सद्गुरु कबीर ने कहा- मोको कहां ढूंढे रे बंदे… वैसे ही गुरु नानकदेव जी ने ‘इक ओंकार’ का संदेश दिया. यानी, एक ईश्वर, जो स्वनिर्मित हर रचना में वास करता है, एक ईश्वर जो शाश्वत सत्य का गठन करता है
इस अवसर पर कल्याण सेवा समिति के अध्यक्ष सरदार बलराम सिंह, युवा राजद बिहार के प्रदेश महासचिव कुन्दन कुमार राय, हरेन्द्र राय (डीलर) संत करसन मुनि,संत महेश मुनि, उपस्थित थे
कबीर और साई के भजन गाकर
वातावरण को भक्तिमय बनाया गया।

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