झारखंड सहित 8 उच्च न्यायालयों में मुख्य न्यायाधीशों की नियुक्ति
नई दिल्ली।
अंतत: केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की सिफारिश के अनुरूप  शनिवार(21 सितंबर) को देश के आठ उच्च न्यायालयों में मुख्य न्यायाधीशों की नियुक्ति कर दी। झारखंड उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश एमएस रामचंद्रन राव बनाए गए हैं।वे फिलहाल हिमाचल प्रदेश के मुख्य न्यायाधीश हैं।

कॉलेजियम ने दिल्ली हाईकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति मनमोहन को यहां का मुख्य न्यायाधीश बनाया है। वहीं दिल्ली उच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति राजीव शकधर को हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश के रूप में पदोन्नत किया गया है।
वहीं बॉम्बे हाईकोर्ट के जज जस्टिस नितिन मधुकर जामदार को केरल हाईकोर्ट का मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया गया है। बॉम्बे हाईकोर्ट के जस्टिस केआर श्रीराम को मद्रास हाईकोर्ट का मुख्य न्यायाधीश बनाया गया है। इसके अलावा कलकत्ता उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति इंद्र प्रसन्न मुखर्जी को मेघालय उच्च न्यायालय का मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया गया है। जम्मू-कश्मीर और लद्दाख हाईकोर्ट के जस्टिस ताशी रबस्तान को यहां का मुख्य न्यायाधीश बनाया गया है।
दिल्ली उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति सुरेश कुमार कैत को मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश के पद पर पदोन्नत किया गया है।
सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम ने 11 जुलाई को देश के आठ अलग-अलग हाईकोर्ट में नए चीफ जस्टिसों की नियुक्ति की सिफारिश की थी। दिल्ली, झारखंड, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर और लद्दाख, मध्य प्रदेश, केरल ,मेघालय और मद्रास हाईकोर्ट में नए चीफ जस्टिसों की नियुक्ति की नियुक्ति की सिफारिश की गई थी।
सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस संजीव खन्ना, और जस्टिस बीआर गवई की कॉलेजियम ने इस प्रस्ताव को पारित किया था। 
केंद्र सरकार से मांगा था जवाब
वहीं शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट ने लंबित न्यायिक नियुक्तियों पर केंद्र सरकार से स्पष्टीकरण मांगा था। सर्वोच्च न्यायालय ने केंद्र को निर्देश दिया था कि वह कॉलेजियम द्वारा अनुशंसित लंबित न्यायिक नियुक्तियों की संख्या और स्थिति के साथ-साथ देरी के कारणों की जानकारी उपलब्ध कराए। यह निर्देश मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ ने एक जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए दिए थे। 

सुप्रीम कोर्ट में यह याचिका एडवोकेट हर्ष विभोर सिंघल की ओर से डाली गई थी। वकील हर्ष विभोर सिंघल ने अपनी याचिका में सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की ओर से सिफारिश किए जाने के बाद जजों की नियुक्ति को अधिसूचित करने के लिए एक निश्चित समय सीमा तय करने का निर्देश देने का आग्रह किया था। ताकि अगर नियुक्ति नहीं की जा रही है तो एक समय सीमा के भीतर ही सुप्रीम कोर्ट को तथ्यों के साथ इसके पीछे की वजह बताई जाए।
The Supreme Court Collegium on Tuesday (September 17, 2024) changed its July 11 recommendations for appointments of Chief Justices to four High Courts.

The Collegium headed by Chief Justice of India D.Y. Chandrachud had, in July, proposed the appointment of Justice Suresh Kumar Kait, senior puisne judge of the Delhi High Court, as Chief Justice of the High Court of Jammu and Kashmir and Ladakh. On Tuesday (September 17, 2024), the Collegium altered the recommendation by proposing Justice Kait as Chief Justice of the Madhya Pradesh High Court.




Top