सुपरटेक को NCLT ने घोषित किया दिवालिया, 25,000 घर खरीदारों का भविष्य दांव पर

एनसीएलटी की दिल्ली बेंच ने सुपरटेक को दिवालिया घोषित कर दिया है। इस कंपनी की पहले से ही मुसीबतें बढ़ी हुई थीं। इस कंपनी के नोएडा प्रोजेक्ट में बने दो अवैध टावर्स को गिराने की प्रक्रिया चल रही है। सुप्रीम कोर्ट द्वारा इन टावर्स को गिराने का आदेश दिया गया है। ये टावर्स नोएडा के सेक्टर-93 में स्थित हैं। इन टावर्स को 22 मई को गिराया जाएगा।
नई दिल्ली: रियल एस्टेट कंपनी सुपरटेक को नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (NCLT) ने दिवालिया घोषित कर दिया है। इस तरह इस डेवलपर को एनसीएलटी से बड़ा झटका लगा है। एनसीएलटी की दिल्ली बेंच ने सुपरटेक को दिवालिया घोषित किया है। यह फैसला यूनियन बैंक ऑफ इंडिया की याचिका पर सुनाया गया है। सुपरटेक में करीब 25 हजार घर खरीदारों का भविष्य दांव पर है। एनसीएलटी के इस फैसले से इन घर खरीदारों पर असर पड़ सकता है। सुपरटेक ने कहा है कि वह इस फैसले के खिलाफ अपीलीय न्यायाधिकरण (NCLAT ) में अपील करेगी। एनसीएलटी ने हितेश गोयल को दिवाला समाधान पेशेवर (IRP) नियुक्त किया है। 
बता दें कि इस कंपनी की पहले से ही मुसीबतें बढ़ी हुई थीं। इस कंपनी के नोएडा प्रोजेक्ट में बने दो अवैध टावर्स को गिराने की प्रक्रिया चल रही है। सुप्रीम कोर्ट द्वारा इन टावर्स को गिराने का आदेश दिया गया है। ये टावर्स नोएडा के सेक्टर-93 में स्थित हैं। इन टावर्स को 22 मई को गिराया जाएगा। इससे पहले 10 अप्रैल को एक परीक्षण विस्फोट किया जाएगा।

सुपरटेक ने कहा है, घर खरीदारों के हित में, परियोजनाओं के निर्माण और वितरण को प्राथमिकता दी गई थी। पिछले 7 वर्षों में हमारे पास 40,000 से अधिक फ्लैट वितरित करने का एक मजबूत रेकॉर्ड है और हम अपने मिशन कंप्लीशन 2022 के तहत अपने खरीदारों को डिलीवरी देना जारी रखेंगे। इसके तहत हमने दिसंबर, 2022 तक 7000 यूनिट देने का लक्ष्य रखा है।सुपरटेक की गुरुग्राम, गाजियाबाद, नोएडा और ग्रेटर नोएडा में कई परियोजनाएं हैं। 25,000 से अधिक घर खरीदार इस डेवलपर द्वारा बनाए गए फ्लैटों के कब्जे का इंतजार कर रहे हैं। ये ऐसे होमबायर्स हैं जिन्होंने सुपरटेक के प्रोजेक्ट में अपने घरों की बुकिंग कराई थी, लेकिन उन्हें अभी तक पजेशन नहीं मिल पाया है।


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